दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल हमेशा कागजों की बात करते हैं। अब करते हों या नहीं, पहले तो बहुत करते थे। उनके ओवरसाइज्ड शर्ट की ऊपरी जेब में हमेशा ही घोटालेबाजों के नाम, उनके कमाए पैसे की रसीद वगैरह हुआ करती थी।
हमारे पास भी कुछ कागज हैं। आप उन्हें देखें, लेकिन पहले हम बता दें कि मामला क्या है?
EXCLUSIVE: Allegedly; @ArvindKejriwal the exchequer of Rs. 25.93 lakh in Stamp duty and Rs. 76.40 lakh as Capital Gains tax. Kejriwal got unaccounted cash of Rs. 3.8 crores. pic.twitter.com/vtGJW0h2Eh
— The Indian Affairs (@ForIndiaMatters) September 7, 2022
कथित तौर पर केजरीवाल ने स्टैंप-ड्यूटी में धोखाधड़ी की और 3.8 करोड़ रुपयों का उनके पास कोई हिसाब नहीं है। उन्होंने अपनी पत्नी सुनीता केजरीवाल के जरिए भिवानी में जमीनों की बिक्री की। बाजार भाव 45 हजार रुपए प्रति वर्ग गज था, लेकिन उसे केवल 8300 रुपए प्रति वर्ग गज की दर से ही दिखाया गया। तीन संपत्तियां बेची गईं, दो केजरीवाल के नाम और एक उनके पिता श्री गोविंद राम के नाम।
यह भिवानी के 100 फीट रोड के व्यावसायिक प्लॉट का बहुत ही कम दाम दिखाया गया। जमीन के टुकड़ों की कुल लागत 4.54 करोड़ थी, लेकिन उन्हें भयंकर तौर पर अवमूल्यित यानी कुल 72.72 लाख का दिखाया गया। यानी, कुल मिलाकर कट्टर ईमानदार का 3.8 करोड़ का घोटाला।

उसी दिन 3 और प्लॉट भी बेचे गए, जो उनकी पत्नी के जरिए थे। यह साफ है कि अरविंद केजरीवाल ने बाजार भाव से ही बेचे, लेकिन जान-बूझकर कीमत कम दिखाई। दोनों राजस्व अधिकारियों ने जान-बूझकर घपला किया। क्या यह सच है?
सूत्र बताते हैं कि दिल्ली के लेफ्टिनेंट गवर्नर एल जी सक्सेना को एक औपचारिक शिकायत इस सिलसिले में मिली है। हम इन कागजातों के बिल्कुल सही या नहीं होने की घोषणा नहीं करते, लेकिन चूंकि मामले में केजरीवाल की पत्नी सीधे तौर पर संलग्न हैं, और केजरीवाल खुद एक महत्वपूर्ण पद पर हैं, इसलिए उनको जवाब तो देना ही चाहिए।